कानपुर। उत्तर प्रदेश के अनवरगंज-कासगंज रूट पर कानपुर से भिवानी जा रही कालिंदी एक्सप्रेस (14117) रविवार रात पलटने से बच गई। ट्रैक पर एक भरा हुआ एलपीजी सिलिंडर रखकर ट्रेन को पटरी से उतारने की साजिश रची गई थी। जब ट्रेन बर्राजपुर और बिल्हौर के बीच 100 किमी की रफ्तार से दौड़ रही थी, तो सिलिंडर से टकराने के बाद तेज आवाज हुई। लोको पायलट ने इमरजेंसी ब्रेक लगाकर ट्रेन रोक दी और घटना की जानकारी गार्ड राजीव कुमार को दी।
रेलवे और आरपीएफ अधिकारियों ने घटनास्थल से सिलिंडर के अलावा कांच की बत्ती लगी बोतल, माचिस और एक संदिग्ध झोला बरामद किया, जिसमें बारूद जैसी सामग्री मिली। बोतल में भी संदिग्ध ज्वलनशील तरल पदार्थ पाया गया। घटना के बाद एटीएस और एसटीएफ की टीम ने मौके पर पहुंचकर जांच शुरू की।
घटना बर्राजपुर स्टेशन से ढाई किलोमीटर आगे और बिल्हौर स्टेशन से पांच किमी पहले हुई। मौके पर लोहे जैसी वस्तु के रगड़ने के निशान मिले। आरपीएफ के असिस्टेंट कमांडेंट एमएस खान ने बताया कि घटनास्थल से संवेदनशील वस्तुएं बरामद हुई हैं। रेलवे पीआरओ राजेंद्र कुमार सिंह ने कहा कि मामले की जांच की जा रही है। ट्रेन 22 मिनट तक खड़ी रही, और एहतियात के तौर पर लखनऊ-बांद्रा एक्सप्रेस को भी बिल्हौर स्टेशन पर रोका गया।
एडिशनल सीपी हरीश चंदर ने बताया कि यह एक साजिश थी, जिसमें ट्रैक पर सिलिंडर रखकर ट्रेन को पटरी से उतारने का प्रयास किया गया। जांच में सिलिंडर के अलावा कांच की बोतल, माचिस, और बारूद जैसी सामग्री वाला झोला मिला। इस तरल और बारूद की जांच जारी है।
17 अगस्त को पनकी में वाराणसी से अहमदाबाद जा रही साबरमती एक्सप्रेस भी बोल्डर से टकरा गई थी, जिससे ट्रेन के डिब्बे पटरी से उतर गए थे, हालांकि इस हादसे में कोई जनहानि नहीं हुई थी। अब इस ताजा घटना के बाद पुलिस, आरपीएफ और जीआरपी ने इलाके में सुरक्षा जांच और कॉम्बिंग शुरू कर दी है। मामले में संदिग्धों का पता लगाने के लिए जांच की जा रही है, और पुलिस की कई टीमें अलग-अलग जिम्मेदारियों के साथ तैनात की गई हैं।